पहली बार रविवार को खुले बाजार, पहले दिन कम खरीदार पहुंचने नहीं टूटी साेशल डिस्टेंसिंग

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बाजार को पटरी पर लाने और भीड़ को बांटने के लिए खाेले गए बाजार

बढ़ते संक्रमण को देखते हुए भीड़ को बांटने के लिए पहली बार रविवार को बाजार खाेले गए। देश अनलॉक होने के बाद ये पहला अवसर है, जब रविवार को वे मुख्य बाजार खुले, जिनमें मंगलवार काे साप्ताहिक बंद रहता है। पहले दिन महाराज बाड़ा, टोपीबाजार, सराफा बाजार सहित अन्य मुख्य बाजारों में कम चहल-पहल रही, क्योंकि खरीदार कम संख्या में पहुंचे।

रविवार का अवकाश होने से सरकारी अफसर, कर्मचारी और उनके परिजन भी खरीदारी करने के लिए बाजारों में निकले। इसके बाद भी लॉकडाउन से पहले के रविवार को होने वाली भीड़ की तुलना में खरीदार नहीं होने के कारण स्वत: सोशल डिस्टेंसिंग का पालन होता रहा।

कौन से बाजार खुले ?
महाराज बाड़ा, सराफा बाजार, टोपी बाजार, मोर बाजार, दौलतगंज, माधौगंज, पिछाड़ी ड्योडी, चिटनीस की गोठ की सभी दुकानें खुली रहीं। मुरार, हजीरा, उपनगर ग्वालियर के बाजार भी खुले रहे। महाराज बाड़ा और उसके आसपास के बाजारों में त्योहार को लेकर खरीदारी करने लोग पहुंचे। यहां अनंत चतुर्दशी और पितृ पक्ष के लिए लोगों ने खरीदारी की।

यह बाजार रहे बंद: दाल बाजार, नया बाजार, लोहिया बाजार, जयेंद्रगंज, इंदरगंज, कंपू के बाजार रविवार को बंद रहे। यहां मंगलवार को दुकानें खुली रहेंगी। जबकि जो बाजार रविवार को खुले थे, वहां मंगलवार को दुकानदार साप्ताहिक अवकाश रखेंगे।

यह फायदा: लश्कर और अन्य बाजार जो मंगलवार को बंद रहते हैं, वहां रविवार को अधिक ग्राहकी होती है। क्योंकि यहां नौकरीपेशा लोग खरीदारी करने पहुंचते हैं। रविवार को जो बाजार बंद रहते हैं, उन बाजारों में अधिकांश दुकानों पर थोक का कारोबार होता है। ऐसे में उन दुकानदारों की ग्राहकी पर असर नहीं पड़ेगा जो मंगलवार को अवकाश रखते हैं। मंगलवार को यहां के दुकानदार तकादे पर निकलते हैं।

वहीं रविवार को पूरा बाजार बंद रहने से सोमवार को भीड़ अधिक दिखती थी। कोरोना संक्रमण बढ़ रहा है। ऐसे में यह खतरनाक था। अब भीड़ बंट जाएगी और अलग-अलग दिन बाजार बंद रहने से सोशल डिस्टेंसिंग के साथ लोग खरीदारी कर सकेंगे।

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